अंबिकापुर/बलरामपुर. सरगुजा संभाग अंतर्गत बलरामपुर जिले से फिर एक झोलाछाप डॉक्टर की अज्ञानता ने मासूम की जान ले ली. बताया जा रहा है कि वार्ड क्रमांक 8 निवासी 10 वर्षीय अनमोल एक्का, जो सरस्वती शिशु मंदिर में कक्षा छठवीं का छात्र था.
दरअसल परिजनों ने बताया कि अनमोल के घुटने में घाव हो गया था,इलाज के लिए बुधवार रात करीब 8 बजे उसे बलरामपुर स्थित शम्भू मेडिकल लेकर गए,मेडिकल संचालक ने घाव का उपचार करने के साथ इंजेक्शन लगाया. इंजेक्शन लगते ही अनमोल की तबीयत बिगड़ने लगी. घबराए परिजनों ने आनन-फानन में उसे जिला अस्पताल पहुंचाया, जहां डॉक्टरों ने हालत गंभीर बताते हुए मेडिकल कॉलेज अंबिकापुर रेफर कर दिया. लेकिन रात करीब 12 बजे मासूम ने रास्ते में ही दम तोड़ चुका था.
सरगुजा संभाग सहित अन्य क्षेत्रों में झोलाछाप डॉक्टरों ने अपनी धंधा खुलेआम चला रहे है,इनके सर पर आखिर किसका हाथ होता है,स्थानीय जनप्रतिनिधि या स्वास्थ्य अधिकारी यह कह पाना मुश्किल होगा,लेकिन यह यकीन से जरूर कह सकते है,कि बिना किसी के सहयोग से इनका गोरख धंधा खुलेआम नहीं चल सकता. आपको बता दें खासकर ग्रामीण इलाकों में घुमंतू झोलाछाप डॉक्टर अक्सर देखे जाते है,जो अपनी अज्ञानता की वजह से कई लोगों की जान तक गवां देते है. इधर स्वास्थ्य विभाग खानापूर्ति के लिए अपनी मामूली कार्रवाई कर उन्हें खुला छूट दे देते है,इसके बाद फिर से इनके धंधे में चार चांद लग जाते है. जिसका खामियाजा अनमोल एक्का जैसे मासूम को अपनी जान देकर चुकाना पड़ता है.
